tag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post372060941477112253..comments2023-09-22T23:12:32.610+05:30Comments on कुछ हम कहें: दिवाली की रातAnita kumarhttp://www.blogger.com/profile/02829772451053595246noreply@blogger.comBlogger18125tag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-52577818846098196712007-11-20T06:39:00.000+05:302007-11-20T06:39:00.000+05:30सुंदर कविता और उससे भी सुंदर रिवाज़।सुंदर कविता और उससे भी सुंदर रिवाज़।Asha Joglekarhttps://www.blogger.com/profile/05351082141819705264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-31762979385509388322007-11-15T09:47:00.000+05:302007-11-15T09:47:00.000+05:30बहुत बढ़िया रचना...हमारे रीति-रिवाज शायद इसीलिए बन...बहुत बढ़िया रचना...<BR/><BR/>हमारे रीति-रिवाज शायद इसीलिए बनाए गए कि हम सब को एक साथ जोडें. इन्हें आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी हर पीढ़ी पर है.Shiv Kumar Mishrahttps://www.blogger.com/profile/16210136982521324733noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-54308737419556923432007-11-13T19:42:00.000+05:302007-11-13T19:42:00.000+05:30bahut sundar ji namaste aapkoaap to meri maa se ba...bahut sundar <BR/><BR/>ji namaste aapko<BR/>aap to meri maa se badi hai umar mein,so mata ko pranaamAnonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-29505047709294843382007-11-09T22:44:00.000+05:302007-11-09T22:44:00.000+05:30"हमारे यहां रिवाज हैअपना घर रौशन करने से पहलेपड़ौसि..."हमारे यहां रिवाज है<BR/>अपना घर रौशन करने से पहले<BR/>पड़ौसियों का घर जगमगाओ"<BR/><BR/>हर सामान्य व्यक्ति कि इच्छा होती है कि दुनियां में अमन चैन हो, सब एक दूसरे का भला करें, एवं किसी तरह की बुराई न हो. लेकिन वे यह भूल जाते हैं कि इसके लिये पहले उन्हें अपना स्वभाव बदलना होगा.<BR/><BR/>मैं उन अज्ञात लोगों का अभिवादन करता हूँ जिन्होंने यह परम्परा चालू की. इसके बारे में बताने के लिये आभार -- शास्त्री <BR/><BR/>हिन्दी ही हिन्दुस्तान को एक सूत्र में पिरो सकती है.<BR/>इस काम के लिये मेरा और आपका योगदान कितना है?Shastri JC Philiphttps://www.blogger.com/profile/00286463947468595377noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-19178685382394337062007-11-09T20:21:00.000+05:302007-11-09T20:21:00.000+05:30आपको दीपावली की हार्दिक शुभकामनाए।आपको दीपावली की हार्दिक शुभकामनाए।Pankaj Oudhiahttps://www.blogger.com/profile/06607743834954038331noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-36355969192483163252007-11-09T10:55:00.000+05:302007-11-09T10:55:00.000+05:30बहुत सुंदर रचना!तम से मुक्ति का पर्व दीपावली आपके ...बहुत सुंदर रचना!<BR/>तम से मुक्ति का पर्व दीपावली आपके पारिवारिक जीवन में शांति , सुख , समृद्धि का सृजन करे ,दीपावली की ढेर सारी बधाईयाँ !रवीन्द्र प्रभातhttps://www.blogger.com/profile/11471859655099784046noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-59173450953604805142007-11-08T18:40:00.000+05:302007-11-08T18:40:00.000+05:30शत शत प्रणाम उन पूर्वजों कोजिन्हों ने ये रस्मों रि...शत शत प्रणाम उन पूर्वजों को<BR/>जिन्हों ने ये रस्मों रिवाज बनाए<BR/>शत शत प्रणाम उन बहुओं को<BR/>जिन्हों ने ये रिवाज खुले मन से अपनाए...<BR/><BR/>सचमुच मुझे ये पन्क्तिया कुछ ज्यादा ही छू गयी.शुभ दीपावली !आलोक कुमारhttps://www.blogger.com/profile/11343758275347219485noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-83172750799729952612007-11-08T11:52:00.000+05:302007-11-08T11:52:00.000+05:30आप सब को भी दिवाली की शुभ कामनाएंआप सब को भी दिवाली की शुभ कामनाएंAnita kumarhttps://www.blogger.com/profile/02829772451053595246noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-31875363533924375942007-11-08T01:09:00.000+05:302007-11-08T01:09:00.000+05:30दीवाली की रातहर घर आंगन दिया जलेउसने जो घर आंगन दि...दीवाली की रात<BR/>हर घर आंगन दिया जले<BR/>उसने जो घर आंगन दिया <BR/>वो न जले<BR/><BR/>दिया जले, दिल न जले<BR/>यूंहीं ज़िन्दगानी चले<BR/><BR/>दीवाली की रात सब से मिलो<BR/>चाहे बसे हो दूर कई मीलों<BR/>शब्दों से उन्हे आज सब दो<BR/>न जाने फिर कब दो<BR/><BR/>दुआ दी, दुआ ली<BR/>यहीं है दीवालीRahul Upadhyayahttps://www.blogger.com/profile/17340568911596370905noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-28689090590391358702007-11-07T13:59:00.000+05:302007-11-07T13:59:00.000+05:30दीपवली की ढेरों शुभ कामनाएँ। आपका जीवन सुखमय हो।सं...दीपवली की ढेरों शुभ कामनाएँ। आपका जीवन सुखमय हो।<BR/><BR/>संजय गुलाटी मुसाफिरSanjay Gulati Musafirhttps://www.blogger.com/profile/16895238398380336879noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-3536106214983374382007-11-07T12:07:00.000+05:302007-11-07T12:07:00.000+05:30हां जी ये शायद पूर्वजो का आशीर्वाद और सत्कर्म ही ह...हां जी ये शायद पूर्वजो का आशीर्वाद और सत्कर्म ही है जो ये परम्पराएँ अभी भी हर्कदम पर हमारे साथ है और रास्ता भटकने की सूरत मे मार्गदर्शन भी करती है. और मुझे लगता है जितना हम इनसे जुड़े रहेगे उतना ही हमारा संताप,उतना ही हमारा कष्ट कम होगाबालकिशनhttps://www.blogger.com/profile/18245891263227015744noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-16462005297206453752007-11-07T11:30:00.000+05:302007-11-07T11:30:00.000+05:30अच्छी रचना है!बधाई!अच्छी रचना है!<BR/>बधाई!चिराग जैन CHIRAG JAINhttps://www.blogger.com/profile/17583261076632477694noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-74181522867209985992007-11-07T04:47:00.000+05:302007-11-07T04:47:00.000+05:30ऐसी ही परम्परा हमारे ऋषियों - मनीषियों में थी/है। ...ऐसी ही परम्परा हमारे ऋषियों - मनीषियों में थी/है। पूर्णत: निस्वार्थ भाव से अपने ज्ञान से विश्व को आलोकित करने की - तमसोमाज्योतिर्गमय! असल में स्व से पहले देने का भाव ही मानवता को जीवित रखे है। आपने कविता के माध्यम से उसी सत्य को प्रकट किया है शायद।Gyan Dutt Pandeyhttps://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-82498503732009068682007-11-07T00:20:00.000+05:302007-11-07T00:20:00.000+05:30सुन्दर रचना. दीपावली की शुभकामनायें.सुन्दर रचना. दीपावली की शुभकामनायें.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-55663680922649587352007-11-06T23:51:00.000+05:302007-11-06T23:51:00.000+05:30सचमुच अनुकरणीय और तारीफ़ के योग्यसचमुच अनुकरणीय और तारीफ़ के योग्यaarseehttps://www.blogger.com/profile/13270855138365991859noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-48538131056639959942007-11-06T22:43:00.000+05:302007-11-06T22:43:00.000+05:30बहुत प्यारी रचना... यही परम्पराएँ ही तो हमारी धरोह...बहुत प्यारी रचना... यही परम्पराएँ ही तो हमारी धरोहर है... दीपावली मंगलमय हो...मीनाक्षीhttps://www.blogger.com/profile/06278779055250811255noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-40181755515108182052007-11-06T21:47:00.000+05:302007-11-06T21:47:00.000+05:30बहुत सुंदर!!बढ़िया रचना!!ऐसी ही कुछेक परंपराएं तो ह...बहुत सुंदर!!<BR/>बढ़िया रचना!!<BR/>ऐसी ही कुछेक परंपराएं तो हम सब को बचाए हुए है खो जाने से!!Sanjeet Tripathihttps://www.blogger.com/profile/18362995980060168287noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-8623065565625964408.post-10689060138908624522007-11-06T21:25:00.000+05:302007-11-06T21:25:00.000+05:30दीवाली की राम राम,बहुत सुंदर रचनादीवाली की राम राम,बहुत सुंदर रचनाdrdhabhaihttps://www.blogger.com/profile/07424070182163913220noreply@blogger.com